देश भर में 279 ऐसी नदियां है, जो कि 311 जगहों पर पहुंच कर प्रदूषित हो रही हैं। नदियों का ये खराब हाल नवंबर 2022 में केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की रिपोर्ट में सामने आया है। हाल ही में संसद में दी गई एक रिपोर्ट में जानकारी सामने आई है। रिपोर्ट के मुताबिक प्रमुख नदियां देश के सभी राज्यों में प्रदूषित हो रही है।
केंद्र सरकार नदियों का प्रदूषण स्तर कम करने के लिए लगातार कई अहम योजनाओं का लागू कर रही है लेकिन इसके बेहतर परिणाम सामने नहीं आ रहे हैं। इन नदियों की बदहाली की सबसे प्रमुख वजह स्थानीय स्तर पर नदियों में छोड़ा जा रहा गंदा पानी है। रिपोर्ट बताती है कि नदियों के आसपास बने औद्योगिक क्षेत्रों के माध्यम से नदियों में प्रदूषित पानी छोड़ा जाता है, जो बढ़ते जा रहे प्रदूषण का बड़ा कारण है। हालांकि दावा किया जा रहा है केंद्र सरकार नमामि गंगे योजना के तहत इन नदियों का प्रदूषण स्तर कम करने की दिशा में काम कर रही है।
राष्ट्रीय नदी संरक्षण योजना के तहत इन योजनाओं को लागू कर रही है रिपोर्ट बताती है कि देश के 16 राज्यों में फैले 80 शहरों में 36 नदियों की परियोजनाओं को स्वीकार किया गया है। ये करीब 6248.16 करोड़ की परियोजनाएं हैं। केंद्र सरकार का दावा है कि अब तक 2745.7 मिलियन लीटर प्रतिदिन (एमएलडी) गंदे पानी को साफ करने की क्षमता बढ़ी है। इसी प्रकार नमामि गंगे कार्यक्रम के तहत 32912.40 करोड़ की लागत से 5269.87 एमएलडी पानी शोधन की क्षमता बढ़ाई गई है।
इसके तहत 177 परियोजनाओं और 5213 किलोमीटर लंबी सीवर नेटवर्क की 409 योजनाएं स्वीकार की गई हैं। इस रिपोर्ट में तीस राज्यों में नदियों की स्थिति सामने लाने की कोशिश की गई है। इस सूची में जो राज्य शामिल हैं। उन राज्यों में पश्चिम बंगाल, उत्तराखंड, आंध्र प्रदेश, असम, बिहार, छत्तीसगढ़, हरियाणा, जम्मू कश्मीर, झारखंड, केरल और मध्य प्रदेश की प्रमुख नदियां शामिल हैं।