लखनऊ: उत्तर प्रदेश में धार्मिक स्थलों से करीब 22,000 अनधिकृत लाउडस्पीकरों को हटा दिया गया है और अन्य 42,000 लाउडस्पीकरों की ध्वनि विस्तारक यंत्रों की आवाज धीमी की गयी है. एक अधिकारी ने इसकी जानकारी दी. अपर पुलिस महानिदेशक (कानून व्यवस्था) प्रशांत कुमार ने बताया कि धार्मिक स्थलों से अनधिकृत लाउडस्पीकरों को हटाने और अन्य की आवाज को अनुमेय सीमा के भीतर निर्धारित करने के लिए राज्यव्यापी अभियान चलाया जा रहा है.
उन्होंने कहा कि बिना किसी भेदभाव के सभी धार्मिक स्थलों से लाउडस्पीकर हटाए जा रहे हैं. कुमार ने कहा कि बृहस्पतिवार शाम तक कुल 21,963 लाउडस्पीकरों को हटा दिया गया और 42,332 लाउडस्पीकरों की ध्वनि विस्तारक यंत्रों की आवाज धीमी की गयी है .
कार्रवाई के बारे में आगे बताते हुए उन्होंने कहा, ”जो लाउडस्पीकर हटाए जा रहे हैं, वे अनधिकृत हैं .
उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा पिछले हफ्ते वरिष्ठ अधिकारियों के साथ कानून व्यवस्था की समीक्षा बैठक के दौरान दिए गए दिशा निर्देशों के आधार पर यह कार्रवाई की जा रही है.
योगी ने कहा था कि हर किसी को अपनी-अपनी धार्मिक आस्था के हिसाब से पूजा और इबादत करने की आजादी है, लेकिन लाउडस्पीकर की आवाज परिसर के बाहर नहीं जानी चाहिए ताकि दूसरे लोगों को कोई परेशानी न हो.
प्रदेश के गृह विभाग ने ‘अवैध’ रूप से लगाए गए लाउडस्पीकर को हटाने की कार्रवाई की स्थिति रिपोर्ट आगामी 30 अप्रैल को मांगी है.
इस बीच, राज्य के अधिकारियों ने आगामी शुक्रवार को अलविदा नमाज और ईद के दौरान कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए धार्मिक प्रमुखों से भी बात की.
गृह विभाग द्वारा साझा की गई जानकारी के अनुसार स्थानीय अधिकारियों ने विभिन्न धर्मों के 29,808 प्रमुखों से बात की है.
अधिकारियों ने राज्य भर में 2,846 संवेदनशील स्थानों की पहचान की है जहां नमाज अदा की जाती है.
पीएसी की कुल 46 कंपनियां, केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल (सीएपीएफ) की सात कंपनियों के साथ-साथ 1492 पुलिस रंगरूटों को राज्य भर में कानून व्यवस्था सुनिश्चित करने के लिए तैनात किया गया है.