राजस्थान कांग्रेस में पैदा हुए संकट के बाद लगातार नेताओं के बयान भी सामने आ रहे हैं. अब अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) के करीबी और राज्य सरकार के मंत्री महेश जोशी ने मुख्यमंत्री का बचाव करते हुए बड़ा दावा किया है. महेश जोशी (Mahesh Joshi) ने कहा कि, “उन्होंने (अशोक गहलोत) कभी भी हाईकमान के आदेश की अवहेलना नहीं की. 25 तारीख की रात अशोक गहलोत सो नहीं पाएं, उन्होंने कहा कि मैडम को कितनी पीड़ा हुई होगी, जब वो बोल रहे थे, तो उनकी आत्मा बोल रही थी.”
महेश जोशी ने आगे कहा कि, “सीएम गहलोत ने आज जो उदाहरण (कांग्रेस अध्यक्ष चुनाव नहीं लड़ने के लिए) दिया है, उसकी जितनी सराहना की जाए वो कम होगी. उन्होंने कभी भी पार्टी आलाकमान के आदेशों की अवहेलना नहीं की, अगर पार्टी हमें आधिकारिक नोटिस भेजती है, तो हम अपना पक्ष रखेंगे.” मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने गुरुवार (29 सितंबर) को दिल्ली में कांगेस अध्यक्ष सोनिया गांधी से मुलाकात की है.
गहलोत नहीं लड़ेंगे अध्यक्ष पद का चुनाव
इस बैठक के बाद मुख्यमंत्री गहलोत ने कहा कि उन्होंने सोनिया गांधी से माफी मांगी है. साथ ही उन्होंने कांग्रेस अध्यक्ष का चुनाव नहीं लड़ने की बात कही है. गौरतलब है कि जयपुर में बीते रविवार (25 सितंबर) को विधायक दल की बैठक से पहले गहलोत समर्थक विधायकों ने मंत्री शांति धारीवाल के घर पर अलग से बैठक की थी. गहलोत समर्थक विधायकों ने मुख्यमंत्री के लिए सचिन पायलट के नाम का विरोध किया था. कई विधायकों ने स्पीकर के घर जाकर इस्तीफा भी दिया था. जिसके बाद विधायक दल की बैठक रद्द कर दी गई थी.
पार्टी ने इन नेताओं को भेजा नोटिस
इस पूरे घटनाक्रम को लेकर राजस्थान कांग्रेस प्रभारी अजय माकन और पर्यवेक्षक मल्लिकार्जुन खड़गे ने मंगलवार (27 सितंबर) को सोनिया गांधी (Sonia Gandhi) को रिपोर्ट सौंपी थी. इसके बाद कांग्रेस (Congress) की ओर से गहलोत के तीन करीबियों को अनुशासनहीनता को लेकर कारण बताओ नोटिस भेजा गया था. इनमें महेश जोशी (Mahesh Joshi) के अलावा धर्मेंद्र राठौर और संसदीय कार्य मंत्री शांति धारीवाल को नोटिस भेजकर दस दिनों में जवाब देने को कहा गया था.