दिल्ली बीजेपी का मनीष सिसोदिया और सत्येंद्र जैन पर बड़ा आरोप, ‘2 हजार करोड़ का किया गया हेरफेर’

दिल्ली: राजधानी दिल्ली में स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन की गिरफ्तारी के बाद बीजेपी (BJP) और आम आदमी पार्टी एक बार फिर आमने सामने आ गयी है. दिल्ली बीजेपी ने अब डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया और सत्येंद्र जैन पर 2 हजार करोड़ के हेरफेर करने का आरोप लगाया है. दिल्ली बीजेपी के प्रवक्ता हरीश खुराना ने इसी सिलसिले में शुक्रवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस भी की. उन्होंने कहा कि जल्द ही वो इसके सारे सबूत एंटी करप्शन ब्रांच को सौंपेंगे.

हरीश खुराना ने बड़ा आरोप लगाते हुए कहा कि ये पैसा जो जा रहा है उसमें 2 लोगों की भागीदारी है. एक सत्येंद्र जैन और दूसरा मनीष सिसोदिया, जोकि उस समय फाइनेंस मिनिस्टर थे. यही दोनों व्यक्ति इस अपराध के लिए जिम्मेदार हैं.

बीजेपी ने सबूत होने का किया दावा
हरीश खुराना ने कहा कि जिस प्रकार के सबूत हमारे पास हैं और इसमें जो हमारे पास एंटी करप्शन ब्रांच का नोटिस आया है उस आधार पर हम कांफिडेंट हैं कि कार्रवाई तो होगी ही. उन्होंने कहा कि इस पर एक उदाहरण दूंगा, आम आदमी पार्टी ने 20 हजार कमरों की बात की थी. 201 कमरों का एक जोन, उन्होंने (मनीष सिसोदिया) ने 2015 में 28 करोड़ 95 लाख रूपये की मंजूरी दी. इसमें कहा गया कि 2016 तक कमरे बन जाने चाहिए.

हरीश खुराना ने आगे कहा कि 2019 के अंदर फिर मीटिंग बैठती है और उन 201 कमरों का बजट 54 करोड़ 90 लाख कर दिया जाता है. यानी इन कमरों का मूल्य दोगुना कर दिया जाता है. खुराना ने कहा कि कोई भी 400 फुट का आम कमरा कमरा 4-5 रुपये में बन जाता है.

एक कमरे की कीमत पर उठाए सवाल
अगर एक कमरे की कीमत 27-28 लाख रुपये आ रही है तो ये सारा पैसा आखिर कहां जा रहा है ? ये पैसा जो जा रहा है उसमें 2 लोगों की भागीदारी है. एक सत्येंद्र जैन और दूसरे मनीष सिसोदिया जो उस समय फाइनेंस मिनिस्टर थे. यही दोनों व्यक्ति जिम्मेदार हैं. हम उम्मीद करते हैं कि इन पर जल्द कार्रवाई होगी.
हरीश खुराना ने कहा कि ये इस बात के दस्तावेजी सबूत हैं. इसमें कोई पर्मानेंट स्ट्रक्चर नहीं हुआ है. सब सेमी पर्मानेंट स्ट्रक्चर हैं. इसमें कड़ी, कुंडे और छत हैं.

समझदार है दिल्ली की जनता- हरीश खुराना
खुराना ने कहा कि दिल्ली की जनता समझदार है. अगर 400 फुट का कमरा बनाने जाओगे तो 3-4 लाख खर्च आएगा…. अगर 28 लाख रूपये एक एक कमरे में लगेंगे तो सवाल तो उठेंगे ही. खुराना ने आगे कहा कि ये दस्तावेज झुठलाए नहीं जा सकते हैं. 27 करोड़ रूपये की मंजूरी देते हो और तीन साल बाद डबल कर देते हो फिर भी अभी तक काम पूरा नहीं हुआ है. हमारे पास सबूत तैयार है.

खुराना ने कहा कि ये तो सिर्फ एक जोन का मामला है, ऐसे ही यहां पर कुल 26 जोन हैं. ये पूरी दिल्ली में जो दावे कर रहे हैं कि हमने 20 हजार बनाए हैं ये उन कमरों की ही सच्चाई है. ये मामला 2 हजार करोड़ रुपये का है. ये पूरा पैसा इधर का उधर हुआ है.

दिल्ली बीजेपी ने लोकायुक्त की नियुक्ति को लेकर भी पूछे सवाल
खुराना ने कहा कि आप को मालूम था कि लोकायुक्त के अंदर केस चल रहा है. इसलिए डेढ़ साल तक लोकायुक्त की नियुक्ति नहीं की. आपको मालूम था जिस दिन लोकायुक्त की नियुक्ति हो गयी और एंटी करप्शन ब्रांच एक्टिवेट हो गया तो आप की मुश्किलें बढ़ने वाली है.

यही आशंका अरविंद केजरीवाल आतिशी और संजय सिंह ने अपनी प्रेस कॉन्फ्रेंस में जताई है. ये सब इसी प्रमाण है कि दस्तावेज सही हैं. अब दिल्ली के लोग सवाल पूछेंगे कि ये पैसा कहां गया है?

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