मित्रकाल के खिलाफ लोकतंत्र को बचाने की लड़ाई… सूरत सेशन कोर्ट से राहत के बाद राहुल गांधी ने दिया पहला रिएक्शन

मानहानि मामले में कांग्रेस नेता राहुल गांधी (Rahul Gandhi) को बड़ी राहत मिली है. सूरत की सेशन कोर्ट से उन्हें जमानत मिल गई है. दरअसल राहुल गांधी ने मानहानि मामले में 2 साल की सजा के खिलाफ सेशन कोर्ट में अपील दायर की थी. इस पर सोमवार को सुनवाई के बाद सेशन कोर्ट ने जमानत दे दी. जमानत मिलने के बाद राहुल गांधी ने पहला रिएक्शन दिया है और अपनी इस लड़ाई को लोकतंत्र को बचाने की लड़ाई बताया.

राहुल गांधी ने ट्वीट करते हुए कहा कि मित्रकाल के खिलाफ ये उनकी लोकतंत्र को बचाने की लड़ाई है. इस संघर्ष में सत्य ही उनका अस्त्र और सत्य ही आसरा है. सेशन कोर्ट ने राहुल गांधी को 13 अप्रैल तक राहत दी है. इस मामले की अगली सुनवाई 13 अप्रैल को की जाएगी. हालांकि इस दौरान राहुल गांधी को खुद कोर्ट में मौजूद रहना जरूरी नहीं है. पिछले कुछ वक्त में एक के बाद एक कई बड़ी कार्रवाइयों का सामना करने के बाद राहुल गांधी को अब थोड़ी राहत की सांस मिली है.

फैसले के 11 दिन बाद सेशन कोर्ट पहुंचे राहुल गांधी
इससे पहल मजस्ट्रेट कोर्ट राहुल गांधी को मानहानि मामले में दोषी करार दिया था और 2 साल की सजा सुनाई थी और 15 हजार का जुर्माना लगाया था. इसके बाद लोकसभा से उनकी सदस्यता रद्द कर दी गई और सरकारी बंगला खाली करने का नोटिस भी भेज दिया गया. इस फैसले के 11 दिन बाद यानी 3 अप्रैल को राहुल गांधी ने मजिस्ट्रेट कोर्ट के फैसले को सेशन कोर्ट में चुनौती दी. मजिस्ट्रेट कोर्ट ने इस मामले में काूननी कदम उठाने के लिए राहुल गांधी को 30 दिनों का वक्त दिया था. अब राहुल गांधी को सेशन कोर्ट से राहत तो मिल गई है लेकिन उनके सरकारी बंगला खाली करने पर स्टे नहीं है.

किस बयान को लेकर पूरा बवाल?
मामला 2019 के लोकसभा चुनावों का है. राहुल गांधी ने मोदी सरनेम को लेकर बयान दिया था और सवाल किया था कि सभी चोरों के नाम मोदी कैसे हैं. इस दौरान उन्होंने नीरव मोदी औऱ ललित मोदी जैसे लोगों का भी जिक्र किया था. ये बयान उन्होंने कर्नाटक के कोलार में चुनावी रैली को संबोधित करते हुए दिया था.

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