दिल्ली में यमुना का जलस्तर रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गया है. इससे राजधानी में बाढ़ का खतरा बढ़ गया है. दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने बुधवार को दिल्ली में यमुना के रिकॉर्ड जलस्तर पर पहुंचने पर चिंता जताई. उन्होंने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को पत्र लिखकर कहा कि उनसे दखल देने को कहा है.
केजरीवाल ने कहा कि हथिनीकुंड से लगातार पानी छोड़ने की वजह से यमुना का जलस्तर बढ़ रहा है. इसलिए हथिनीकुंड से सीमित स्तर पर पानी छोड़ा जाये, जिससे यमुना का जलस्तर और न बढ़ें. बता दें कि यमुना का स्तर 1978 के बाद पहली बार 207.55 मीटर पर पहुंचा है. केजरीवाल का कहना है कि सेंट्रल वाटर कमीशन के अनुसार बुधवार रात को यमुना का स्तर 207.72 मीटर होगा. दिल्ली में सितंबर में G20 शिखर सम्मलेन होना है. ऐसे में दिल्ली में बाढ़ आयी तो ये दुनिया में अच्छा संदेश नहीं जाएगा.
दिल्ली में यमुना का स्तर रिकॉर्ड लेवल पर पहुंचा
इससे पहले दिल्ली सरकार में मंत्री सौरभ भारद्वाज यमुना किनारे बोट क्लब के पास जलस्तर का जायजा लेने पहुंचे. उन्होंने TV9 भारतवर्ष से बात करते कहा कि यमुना का लेवल इस वक्त काफी ऊपर है. सेंट्रल वाटर कमीशन ने हमें जानकारी दी है क यह रात को 10 से 12 बजे के बीच यमुना का जलस्तर 207.55 तक पहुंचेगा. ऐसे में दिल्ली सरकार ने जो अफसर हैं या फिर गोताखोर हैं, उन सभी लोगों को मुस्तैदी से लगा दिया गया है और सभी ग्राउंड जीरो पर मौजूद है.
अगर कहीं पर जलस्तर बढ़ता है तो वहां पर आर्टिफिशियल इनफोर्स लगाकर बांधों को मजबूत किया जा रहा है और वहां बोरिया लगाई जा रही हैं. जो लो लाइन एरिया है वहां से लोगों को रेस्क्यू करके टेंट के अंदर भेजा जा रहा है. इन टेंट में खाने पीने रहने और डॉक्टर का इलाज मौजूद है.
केजरीवाल सरकार केंद्र और हरियाणा सरकार के संपर्क में है
सौरभ भारद्वाज ने कहा कि हम केंद्र और हरियाणा सरकार के लगातार संपर्क में है. हमारी लगातार अफसरों से बात हो रही है और यह जो पानी आ रहा है वह दिल्ली का नहीं है. दिल्ली में तो 2 दिन से बारिश नहीं हुई है 8 और 9 तारीख को बारिश हुई थी आज 12 तारीख है. यह पानी वह पानी है जो हरियाणा में हथिनी कुंड बैराज से छोड़ा गया था जो यहां से करीब 228 किलोमीटर दूर है वहां से लाखों क्यूसेक पानी छोड़ा जा रहा है उसकी वजह से यहां पर वाटर लेवल बढ़ रहा है.
हमारा मानना है कि पानी ज्यादा ना बढ़े सेंट्रल वॉटर कमिशन इस बात का ध्यान रखें कि लेवल एक हद तक बढ़ाया जाए उसके बाद उस को कंट्रोल किया जाए. हमने केंद्र सरकार से आर्थिक मदद नहीं मांगी है. अभी तो उत्तराखंड हिमाचल और पंजाब में बाढ़ आई है वहां पर केंद्र सरकार को आर्थिक मदद करनी चाहिए उन तीनों राज्यों के अंदर काफी जान और माल का नुकसान हो रहा है इतना ही है कि सेंट्रल वॉटर कमिशन इस बात को मॉनिटर करें कि उतना ही पानी छोड़ा जाए कि दिल्ली सेफ रहे.
BJP और LG पर राजनीति के आरोप लगाए
सौरभ भारद्वाज ने कहा कि 8 जुलाई को दिल्ली में 157 एमएम बारिश हुई लेकिन LG साहब नहीं दिखे. 9 जुलाई को बारिश हुई साहब निकले ही नहीं, 10 को बारिश नहीं हुई तो 11 को एलजी साहब बाहर निकले और निकले भी तो सिर्फ आरोप-प्रत्यारोप और राजनीति करने. इस समय लोगों को रिलीफ की जरूरत है मरहम की जरूरत है. आप राजनीति कर रहे हैं यह शोभा नहीं देती आप के दफ्तर को यह शोभा नहीं देता है.
पिछले 6 महीने में एलजी दर्जन बार दिल्ली के नालों को देखने गए और कह रहे थे कि वो नालों की सफाई करा रहे थे. जबकि नालों की सफाई दिल्ली सरकार करा रही थी और वह अपना ढोल बजा रहे थे अब 11 तारीख को अपनी पोल खोल रहे हैं यह कहकर कि कि दिल्ली के नालों की सफाई नहीं हुई अगर सफाई नहीं हुई तो आप किस बात का क्रेडिट ले रहे थे यानी कि आप झूठा क्रेडिट ले रहे थे तो उन्होंने अपने दावों की पोल खुद खोल दी. इसके अलावा सुप्रीम कोर्ट ने आदेश में कह दिया कि एलजी के पास कोई पावर नहीं है कि वह दिल्ली की यमुना की सफाई कर सकें.
दिल्ली के निचले इलाकों में यमुना का कहर
दिल्ली में यमुना अपने पिछले सभी रिकॉर्ड को तोड़ते हुए खतरे के निशान से ऊपर बह रही है. इसका सीधा असर यमुना किनारे बसे लोगों और बस्तियों पर पड़ रहा है. यहां कई इलाकों में पानी भर गया है. कुछ लोगों ने अपने घर छोड़ दिए हैं और शरण लेने के लिए आसपास निकल गए हैं तो कुछ लोग अभी भी अपने सामान को छोड़कर जाने को तैयार नहीं है.
यमुना किनारे बसे हुए यमुना बाजार में सैकड़ों मकान है और तकरीबन 1500 लोग इस इलाके में रहते हैं. यहां रहने वाले लोगों का कहना है कि वह 30 से 40 सालों से यहां पर रह रहे हैं लेकिन ऐसी स्थिति पहली बार देखने को मिली है तो वहीं पर कुछ लोग सरकार की तरफ से पर्याप्त मदद ना मिलने की बात कह कर अपना गुस्सा भी जाहिर कर रहे हैं.