दिल्ली: गुजरात की जीवन रेखा माने जाने वाले सरदार सरोवर बांध के जल्दी ही पूरी तरह भरने की उम्मीद है और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 17 सितंबर को खुद इस घटना के गवाह बनेंगे। इत्तेफाक से उस दिन उनका जन्मदिन भी है। गुजरात के मुख्यमंत्री विजय रूपाणी ने शनिवार को बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 17 सितंबर को इस घटना को देखने के लिए बांध स्थल पर होंगे। इसी दिन उनका 69वां जन्मदिन है। उन्होंने कहा कि बरसों के संघर्ष के बाद, नर्मदा नदी पर बांध बनाने का देश के पहले गृह मंत्री सरदार वल्लभभाई पटेल का सपना अब सच हो गया है।
रूपाणी ने कहा कि बांध का जल स्तर 138.68 मीटर की अपनी पूर्ण क्षमता तक जल्द ही पहुंच सकता है। शनिवार को जलस्तर 138 मीटर की ऊंचाई पर पहुंच गया और ये ‘ओवरफ्लो’ के निशान से सिर्फ 68 सेमी कम है। साल 2018 में कम बारिश की वजह से यह बांध आधा खाली रह गया था।
रूपाणी ने कहा कि इस साल अच्छी बारिश होने से बांध का जलस्तर आगामी दिनों में अपनी अधिकतम क्षमता तक पहुंच सकता है और राज्य के लोग खुश है, क्योंकि इस दिन को देखने की लोगों की इच्छा जल्द पूरी होने वाली है।
सरदार सरोवर नर्मदा निगम लिमिटिड के प्रबंध निदेशक राजीव गुप्ता ने कहा कि जिस दिन बांध पूरा भर जाएगा वह दिन गुजरात के लोगों के लिए गर्व का दिन होगा। बांध की नींव पांच अप्रैल 1961 को देश के प्रथम प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू ने रखी थी लेकिन इसका निर्माण 56 साल बाद सितंबर 2017 में पूरा हुआ।
उन्होंने कहा कि हमने अपने नहर नेटवर्क के जरिए नर्मदा के पानी से 400 नहरें, कई नदियां और यहां तक कि कुछ बांध भरे हैं। यह पानी गुजरात की जीवनरेखा है। बांध का मकसद 131 शहरी केंद्रों और 9,633 गांवों को पेय जल उपलब्ध कराना और 18.54 हेक्टेयर भूमि में सिंचाई सुविधा उपलब्ध कराना है