महाशिवरात्रि पर शिवलिंग पर मत्था टेकते ही वृद्ध महिला के निकले प्राण

गोरखपुर. उत्तर प्रदेश के गोरखपुर (Gorakhpur) में महाशिवरात्रि (Mahashivratri) के मौके पर अनोखी घटना हुई, जो लोगों के बीच चर्चा का विषय बनी हुई है. यहां एक गांव में पूजन-अर्चन के लिए गई वृद्धा के शिवलिंग पर मत्‍था टेकते ही प्राण निकल गए. मीडिया में चली एक खबर के मुताबिक वृद्धा गांव के शिव मंदिर पर रोज की भांति भोर में 4 बजे जल चढ़ाने के लिए पहुंची. वहां उसने पूजन-अर्चन के बाद जैसे ही शिवलिंग को पकड़कर मत्‍था टेका, वो अचेत हो गई. आनन-फानन में परिजन उसे लेकर अस्‍पताल गए, जहां चिकित्‍सकों ने उन्‍हें मृत घोषित कर दिया.

गोरखपुर के नौसड़ चौक के पास स्थित हैरया गांव में शिव मंदिर है. यहां पर गांव के रहने वाले 65 वर्षीय जमुना प्रसाद कसौधन अपनी पत्‍नी विभक्ति देवी (60 वर्ष) के साथ महाशिवरात्रि के अवसर पर शिव मंदिर में पूजन-अर्चन करने गए थे. भोर में 4 बजे मंदिर पहुंचने के बाद उन्‍होंने भगवान भोलेनाथ का जलाभिषेक किया. इसके बाद उन्‍होंने शिवलिंग पर हाथ रखकर मत्‍था टेका. मत्‍था टेकते ही विभक्ति देवी के प्राण-पखेरू उड़ गए.

शरीर छूते ही एक ओर गिर गईं: पोता रमेश कुमार
उनके पोते रमेश कुमार ने बताया कि पूजा करते ही उनकी दादी ने जैसे ही शिवलिंग पर मत्था टेका, उसके बाद कोई हलचल नहीं हुई. उनके बाबा जमुना प्रसाद ने पत्नी विभक्ति देवी को कई बार आवाज लगाई. रमेश कुमार ने बताया कि पुकार सुनने के बाद भी कोई जवाब नहीं मिलने पर जब बाबा जमुना प्रसाद ने उनको छुआ तो देखा कि दादी विभक्ति देवी के प्राण निकल चुके थे. उनके शरीर को छूते ही वे एक ओर गिर गईं. जमुना प्रसाद के दो पुत्र और तीन पुत्री हैं. बचपन से ही पूजा-पाठ में लीन रहने वाली विभक्ति देवी की महाशिवरात्रि के मौके पर शिवलिंग पर मत्‍था टेकते ही मौत होने से लोग हैरत में हैं.
अस्पताल में डॉक्टरों ने मृत घोषित किया: पड़ोसी

पड़ोसी नरेंद्र कुमार नंदू ने बताया कि सुबह जब चीख-पुकार की आवाज आई, तो वे लोग भागते हुए मंदिर पहुंचे. वहां देखा कि वह शिवलिंग पर ही गिरी पड़ी हुई हैं. उन लोगों ने उन्हें उठाकर बाहर निकाला. उन्‍हें इलाज के लिए नजदीकी अस्पताल में भी ले गए. जहां पर डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया. इस घटना से गांव और आसपास के लोग भी हैरत में हैं.

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