दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने के बाद केजरीवाल सरकार के हाथ में ताकत आ गई है. अब दिल्ली के कई अधिकारियों के दिन गड़बड़ाने वाले हैं. चीफ सेक्रेटरी के सबसे करीबी रहे आशीष मोरे को सेवा सचिव पद से हटाए जाने से ये साफ हो गया है कि अगला नंबर भी जल्द आएगा. आशीष मोरे को बस सर्विसेज से बेदखल कर दिया गया है.सूत्रों के हवाले से मिली जानकारी के मुताबिक उनके बाद अब विजिलेंस से राजशेखर हटाए जाएंगे. उसके बाद तीसरे नंबर पर वित्त विभाग के प्रिंसिपल सेक्रेटरी आशीष वर्मा का नाम सबसे अहम है.
केजरीवाल सरकार की आशीष वर्मा से सबसे ज्यादा नाराजगी रही है. क्योंकि आशीष वर्मा के कई ऑब्जेक्शन की वजह से सरकार की कई योजनाएं प्रभावित हुईं. जिससे केजरीवाल और उनकी टीम के लोग उनसे काफी खफा हैं. बता दें कि आशीष वर्मा के खिलाफ विधानसभा समिति भी कई बार टिप्पणी कर चुकी है. समिति ने उनके खिलाफ कार्रवाई करने की बात भी कही थी. माना जा रहा है कि अगला नंबर उनका हो सकता है.
कौन से अधिकारी का अगला नंबर?
आशीष वर्मा के ऑब्जेक्शन की वजह से ही मोहल्ला क्लीनिक और डेली वेजेस कंस्ट्रक्शन वर्कर्स को सरकार की योजना का फायदा समय से नहीं मिल सका. दिल्ली सरकार की घोषणा के मुताबिक मिलने वाले पैसे इन वर्कर्स को समय पर नहीं मिलने का बड़ा कारण आशीष वर्मा का वित्त विभाग में ऑब्जेक्शन को माना जाता है. इतना ही नहीं कई विभागों की फाइलें मंत्रियों के कहने के बावजूद वहां महीनों अटकी रही. जिसकी वजह से आशीष को केजरीवाल सरकार की काफी नाराजगी झेलनी पड़ी. अब उन पर भी जल्द गाज गिर सकती है.
आबकारी विभाग के कमिश्नर भी निशाने पर!
चौथा नाम दिल्ली के सबसे विवादित आबकारी विभाग का है. आबकारी विभाग में घोटाले की जांच के बाद ही डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया को जेल जाना पड़ा था. इसीलिए अब आबकारी विभाग के कमिश्नर कृष्ण मोहन उप्पू भी केजरीवाल सरकार के निशाने पर हो सकते हैं.
सौरभ भारद्वाज को मिली सर्विसेस की जिम्मेदारी
सर्विसेस की जिम्मेदारी फिलहाल सौरभ भारद्वाज को दी गई है. उन्होंने अपने अधिकार का इस्तेमाल करते हुए आशीष मोरे को हटा दिया है. उनकी जगह एके सिंह को दी गई है. अब एके सिंह ही अन्य तमाम अधिकारियों को हटाने के लिए फाइलें बना सकते हैं. इस मामले को आगे बढ़ाते हुए केजरीवाल सरकार के निशाने पर आ चुके अधिकारियों को पदों से हटाया जा सकता है.