दिल्ली: दिल्ली के उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना ने एक विशेष संयुक्त स्वच्छता अभियान की शुरूआत की है. एक पखवाड़े तक चलने वाला यह स्वच्छता अभियान अपने आप में एक पहला प्रयास होगा, जिसमें सभी संबंधित एजेंसियां, स्थानीय निकाय एवं विभाग पहली बार मिलकर मिशन मोड में काम करेंगे. इस स्वच्छता अभियान का मुख्य उद्देश्य शहर की सड़कों, सेंट्रल वर्ज, फुटपाथ, गली, पार्क और आस-पड़ोस में अरसे से जमा हुए कचरे, सीएंडडी अपशिष्ट, और प्लास्टिक को पूर्ण रूप से हटाना है. इसकी शुरूआत उत्तरी दिल्ली के मुखर्जी नगर से हुई है.
उपराज्यपाल ने सफाई कर्मचारियों को संबोधित करते हुए कहा कि, यद्यपि सफाई कर्मचारियों को विभागीय हायरार्की में सबसे निचले पायदान पर रखा गया है, लेकिन वह उन्हें सबसे महत्वपूर्ण स्तम्भ समझते हैं. ये सफाई कर्मचारी ही हैं जो किसी भी शहर को स्वच्छ, साफ, स्वस्थ, रहने योग्य एवं उच्चस्तरीय स्थान बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं-और उनका यही कार्य उन्हें श्रेष्ठ बनाता है.
सफाई कर्मचारियों से शहर की साफ-सफाई में सक्रिय भूमिका निभाते रहने की अपील करते हुए सक्सेना ने कहा कि, वे उनकी चिंताओं और शिकायतों से अवगत हैं और वादा किया कि शीघ्र-अतिशीघ्र उनका समाधान किया जायेगा. वह अभिभावक के रूप में सफाई कर्मचारियों को सशक्त करने तथा कार्य करने योग्य वातावरण उपलब्ध कराने के लिए हर संभव प्रयास करेंगे.
उपराज्यपाल ने इस अभियान में लोगों की भागीदारी पर जोर देकर कहा कि, शहर की सफाई के लिए विशेष प्रयास करना है और साथ ही साथ हम यह सुनिश्चित करेंगे कि यह एक निरंतर चलने वाला अभियान बने. साफ -सफाई और स्वच्छता की दिशा में एक व्यक्ति के व्यक्तिगत प्रयास ही आसपास, शहर और देश की स्वच्छता का आधार होता है. भारत की राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली, जो अपनी गंदगी, प्रदूषण, सीवर लाइन ओवरफ्लो और एक मृतप्राय यमुना के लिए जानी जाती है. इस पर उन्होंने खेद व्यक्त किया और कहा कि, हमें जल्द ही दिल्ली को अंतर्राष्ट्रीय राजधानियों के बीच अपने गौरव स्थान को पुन: प्राप्त कराना चाहिए.