पुलिस स्मृति दिवस पर गृह मंत्री अमित शाह ने नेशनल पुलिस मेमोरियल पर शहीद पुलिसकर्मियों को श्रद्धांजलि दी. इस दौरान उन्होंने जम्मू कश्मीर को लेकर कहा कि पहले युवा पत्थरबाजी में शामिल रहते थे, लेकिन अब वे सरकार की ओर से चलाई जा रही विभिन्न विकास योजनाओं में शामिल हो रहे हैं. गृह मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में देश की आंतरिक सुरक्षा को मजबूत करने के लिए सरकार की ओर से कई अहम कदम उठाए गए हैं.
गृह मंत्री अमित शाह ने इस दौरान कहा कि देश की आंतरिक सुरक्षा के मामले में सकारात्मक बदलाव आए हैं. पहले देश के उत्तर पूर्वी राज्यों और जम्मू कश्मीर में इस तरह की कई बड़ी घटनाएं होती थीं. पहले सुरक्षाबलों को खास शक्तियां दी गई थीं, लेकिन अब युवाओं को उनके विकास के लिए खास शक्तियां दी गई हैं. इससे हिंसा में कमी आई है. उन्होंने कहा कि पिछले आठ साल में पूर्वोत्तर राज्यों, जम्मू-कश्मीर, नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में सुरक्षा स्थिति में सुधार हुआ है.
पुलिसकर्मियों का बलिदान बेकार नहीं जाएगा: गृह मंत्री
पुलिस स्मृति दिवस पर गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि भारत आंतरिक सुरक्षा, सीमाओं पर पूर्ण सुरक्षा सुनिश्चित कर सर्वांगीण विकास के अपने लक्ष्य की ओर आगे बढ़ेगा. उन्होंने कहा, ‘ मैं सभी को आश्वस्त करना चाहता हूं कि पुलिसकर्मियों का बलिदान व्यर्थ नहीं जाएगा, किसी भी कीमत पर देश की सुरक्षा सुनिश्चित करेंगे.’ गृह मंत्री ने कहा कि कोविड-19 वैश्विक महामारी के दौरान पुलिस कर्मी अग्रिम मोर्चे पर तैनात थे. आंतरिक सुरक्षा और अंतरराष्ट्रीय सीमाओं की रक्षा करते हुए 35,000 पुलिस कर्मियों ने अपनी जान कुर्बान की.
विकास की राह पर आगे बढ़ रहा देश: अमित शाह
उन्होंने कहा कि वामपंथी उग्रवाद (एलडब्ल्यूई) से प्रभावित राज्यों में एकलव्य स्कूलों में राष्ट्रगान गाया जा रहा है और उनकी इमारतों पर राष्ट्रीय ध्वज फहराया जाता है. शाह ने कहा कि देशभर में पुलिस और अर्धसैनिक बलों के जवानों के बलिदान की वजह से ही भारत विकास के पथ पर आगे बढ़ रहा है. बता दें कि पुलिस स्मृति दिवस लद्दाख के हॉट स्प्रिंग्स इलाके में 1959 में चीन के आक्रमण की जवाबी कार्रवाई के दौरान जान गंवाने वाले केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल के 10 जवानों की याद में मनाया जाता है.