मानसून ने देश के 80 फीसदी हिस्से को कवर कर लिया है. महाराष्ट्र, दिल्ली-एनसीआर, मध्य प्रदेश, हरियाणा और उत्तर प्रदेश में भी मानसून ने दस्तक दे दी है. भारतीय मौसम विभाग की मानें तो दक्षिण पश्चिम मानसून सोमवार को गुजरात, हरियाणा और पंजाब की ओर बढ़ गया है. आईएमडी के वैज्ञानिक डॉक्टर नरेश कुमार ने छत्तीसगढ़ और मध्य प्रदेश के उत्तरी हिस्से में भारी बारिश की संभावना जताई है.
एनडीटीवी की एक रिपोर्ट के मुताबिक, बंगाल की खाड़ी में बने कम दबाव के क्षेत्र की वजह से देश के विभिन्न हिस्सों में तेजी से मानसून पहुंचा है. आईएमडी ने बताया कि 62 साल में ऐसा पहली बार है जब दिल्ली और मुंबई में मानसून ने एक ही दिन दस्तक दी. 1961 में इन दोनों मेट्रो सिटी में मानसून 21 जून को पहुंचा था. तब इसने देश के अन्य बचे हिस्सो को भी कवर कर लिया था. आमतौर पर मुंबई में 11 जून तो दिल्ली में 27 जून के बाद से मानसून की बारिश हुआ करती है.
मानसून की बारिश से बाढ़ जैसे हालात
आईएमडी के नरेश कुमार ने पिछले 30-40 साल के डेटा के आधार पर साफ किया कि इसे क्लाइमेट चेंज से जोड़कर नहीं देखा जा सकता. इस साल मानसून ने एक अलग पैटर्न के साथ दस्तक दी है. यह कम दबाव वाले क्षेत्र की वजह से एक्टिव होता है. तेज हवाओं की वजह से कम दबाव वाले क्षेत्र बनते हैं. महाराष्ट्र से बहने वाली हवाओं से मानसून दिल्ली की तरफ बढ़ा, और आसपास के राज्यों में बारिश शुरू हो गई. लगातार भारी बारिश की वजह से देश के कुछ हिस्से में बाढ़ जैसी स्थिति पैदा हो गई है.
कई शहरों में भारी बारिश, बाढ़ जैसे हालात
उत्तर पूर्वी राज्य असम के 16 से ज्यादा जिले बाढ़ की चपेट में है. अगले कुछ दिनों तक यहां मौसम ठंडा रहेगा, बादल छाए रहेंगे, लेकिन बारिश की संभावना कम है. उत्तराखंड के कुछ जिलों में अगले दो दिनों तक बारिश की संभावना है. यहां रूद्रप्रयाग में 12 सेंटीमीटर बारिश हो सकती है. देश के कई शहरों में भारी बारिश हो रही है, और बाढ़ जैसे हालात पैदा हो गए हैं. पंजाब और हरियाणा में धुल भारी आंधी, गरज के साथ भारी बारिश की संभावना है. यहां अगले दो दिनों तक हल्की से मध्यम बारिश हो सकती है.
हिमाचल प्रदेश में लैंडस्लाइड, रामबन में स्कूल बंद
हिमाचल प्रदेश में रविवार शाम से लगातार बारिश हो रही है. कुछ हिस्से में लैंडस्लाइड की घटनाएं सामने आई है. चंडीगढ़-मनाली राष्ट्रीय राजमार्ग (एनएच-21) इसकी वजह से ब्लॉक हो गया है. मंडी जिले में सैकड़ों पर्यटक फंसे हुए हैं. अचानक बाढ़ के खतरे को देखते हुए रामबन में 10वीं कक्षा तक के स्कूल बंद कर दिए गए हैं.