बिहार (Bihar) में एनडीए (NDA) से अलग होकर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (Chief Minister Nitish Kumar) के नेतृत्व में बनी नई महागठबंधन सरकार (Grand Alliance Government) आज विधानसभा में अपना बहुमत साबित करेगी. आज बुधवार के दिन बिहार विधानसभा का एक दिवसीय विशेष सत्र बुलाया गया है. इस विशेष सत्र के दौरान आज सदन में जेडीयू-आरजेडी गठबंधन (JDU-RJD Alliance) को फ्लोर टेस्ट (Floor Test) के दौरान बहुमत साबित करना होगा.
फिलहाल विधान सभा अध्यक्ष विजय सिन्हा ने अपना पद छोड़ने से इनकार कर दिया है. ऐसे में बिहार विधानसभा का विशेष सत्र काफी हंगामेदार होने के आसार लगाए जा रहे हैं. हालांकि बिहार विधान सभा अध्यक्ष के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव आ चुका है. ऐसे में विधान सभा अध्यक्ष विजय सिन्हा ने इसे नियमों और प्रावधान के खिलाफ बताया है. बिहार विधान सभा अध्यक्ष विजय सिन्हा बीजेपी के विधायक हैं.
नैतिकता के आधार पर पद छोड़ें स्पीकर
वहीं जेडीयू के टिकट पर एमएलए बने बिहार विधानसभा के डिप्टी स्पीकर महेश्वर हजारी का कहना है कि स्पीकर के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव आ चुका है, ऐसे में सदन चलाने का काम उपाध्यक्ष को करना होगा. महेश्वर हजारी के अनुसार विजय सिन्हा को नैतिकता और बहुमत के अनुसार सम्मान के साथ अपना पद छोड़ देना चाहिए.
नीतीश कुमार के पास 164 विधायक
बता दें कि बिहार की 243 सीट की विधानसभा में सरकार बनाने के लिए 122 विधायकों की जरूरत होती है. ऐसे में नीतीश कुमार के नेतृत्व में महागठबंधन के पास वर्तमान में 164 विधायक हैं. जो आसानी से फ्लोर टेस्ट में अपना बहुमत साबित कर सकते हैं. वहीं अविश्वास प्रस्ताव आने के बाद स्पीकर बने रहने के लिये विजय सिन्हा को बहुमत चाहिए होगा लेकिन BJP के पास सिर्फ 77 विधायक हैं.
फिलहाल विधानसभा सचिव को महागठबंधन के विधायकों ने विधानसभा अध्यक्ष विजय सिन्हा (Assembly Speaker Vijay Sinha) के खिलाफ 10 अगस्त को अविश्वास प्रस्ताव (No Confidence Motion) का नोटिस दिया था. इस बीच अब कयास लगाए जा रहे हैं कि RJD के वरिष्ठ नेता अवध बिहारी चौधरी (Awadh Bihari Chowdhary) विधानसभा के नए स्पीकर हो सकते हैं. वहीं जेडीयू के देवेश चंद्र ठाकुर विधान परिषद के सभापति बनाए जा सकते हैं.