PM Modi Interview: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Modi) ने पिछले महीने पंजाब के फिरोजपुर में सुरक्षा में हुई चूक पर बुधवार को कहा कि इस विषय पर टिप्पणी करना अभी उचित नहीं है. उन्होंने न्यूज़ एजेंसी एएनआई को दिए इंटरव्यू में सुरक्षा चूक के सवाल पर कहा, ”इस विषय में मैंने पूरी तरह मौन रखा हुआ है. सुप्रीम कोर्ट स्वयं गंभीरता पूर्वक इस बात को देख रहा है. मेरा कोई भी वाक्य, प्रभाव पैदा करे यह उचित नहीं है. जो भी है सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) की कमेटी निकालेगी जो सत्य होगा देश के सामने आएगा. हमें तब तक इंतजार करना चाहिए.”
इसी दौरान पीएम (PM Modi) ने एक पुराने वाकये का जिक्र किया. पीएम ने कहा, ”मेरा नॉर्थ भाग से बहुत निकट नाता रहा है. मैं पंजाब (Punjab)में बहुत रहा हूं. मैं पार्टी का काम वहां करता था. मैंने पंजाब के लोगों की वीरता देखी है. पंजाब के लोगों के दिल को जानता हूं. पार्टी के काम के लिए पंजाब (Punjab) में था, आतंकवाद उस समय काफी था, हालात खराब थे. शाम के बाद कोई निकल नहीं पाता था. मैं शायद मोगा या तरणतारण में था.”
पीएम मोदी (PM Modi) ने कहा, ”कार्यक्रम में देरी हो गई. मैं और मेरा ड्राइवर साथ थे. दुर्भाग्य से मेरी गाड़ी खराब हो गई. उस समय एंबेसडर कार थी, पुरानी. धक्के भी लगाए, तभी खेत में दो तीन लोग थे, वो दौड़ते हुए आए. उन्होंने भी धक्के लगाने में मदद की. लेकिन गाड़ी नहीं चली. मैंने मकैनिक के बारे में पूछा तो उन्होंने बताया कि दूर होंगे मकैनिक. उन्होंने मुझसे कहा कि अगर आपको बुरा न लगे तो आप यहीं रुक जाइए. खेत में झोपड़ी है, यहीं रुक जाइए, यहीं खा लो. रात को रुक जाओ. सरदार परिवार था. जिस प्रकार से उन्होंने मुझे संभाला और कहा कि सुबह ही जाना. उन्हें पता चला कि मैं बीजेपी (BJP) का नेता हूं, तो उन्होंने कहा कि कुछ भी हैं यहीं रुकिए. मैं रुका. सुबह उनका बेटा मकैनिक को लेकर आया. मैंने पंजाब का दिल देखा है. सरदार के भाव को जानता हूं.”
प्रधानमंत्री (PM Modi) ने कहा, ”कच्छ में काफी सरदार परिवार रहते हैं. लखपत में जब गुरुद्वारों का भूकंप से नुकसान हुआ तो, मैंने कहा कि वैसे ही गुरुद्वारा तैयार होना चाहिए. मेरा इतना लगाव रहा है. सिख भाइयों की वीरता के सम्मान के लिए मैंने काफी काम किए हैं. किसानों के लिए काम किए हैं.”
बता दें कि पीएम मोदी (PM Modi) ने पांच जनवरी को पंजाब (Punjab) का दौरा किया था लेकिन विकास परियोजनाओं का लोकार्पण और एक रैली को संबोधित किए बगैर उन्हें वापस दिल्ली लौटना पड़ा था. दरअसल, फिरोजपुर में कुछ प्रदर्शनकारियों द्वारा मार्ग अवरूद्ध किये जाने के चलते एक फ्लाईओवर पर उनका काफिला फंस गया था. इसको लेकर केंद्र सरकार ने सख्ती दिखाई थी और राज्य सरकार से रिपोर्ट मांगी थी