हिंसा को लेकर अमित शाह की मणिपुर में हाई लेवल मीटिंग, इन 5 फैसलों से शांति की उम्मीद

एक महीने से अधिक का वक्त बीत चुका है मणिपुर अशांत रहा. हिंसा की आग में झुलसता रहा. दो समुदाय के बीच की आग ने सब कुछ तबाह कर दिया. जिस वक्त मणिपुर में भयंकर तनाव वाली स्थिति थी उसी वक्त कर्नाटक में विधानसभा चुनाव भी होन वाले थे. गृहमंत्री अमित शाह को अपने प्रस्तावित कार्यक्रम रद्द करने पड़े थे. मंगलवार को शाह मणिपुर पहुंचे. देर शाम पूरी कैबिनेट से साथ उन्होंने मीटिंग की. सीएम बीरेन सिंह मीटिंग में मौजूद रहे. बैठक में पांच बड़े फैसले लिए गए. इन्हें राज्य में तुरंत लागू किया जाएगा.

मणिपुर में तीन मई के बाद से कर्फ्यू लगा हुआ है. इंटरनेट सेवा में भी रोक लगी हुई है. शाह ने मेइती और कुकी समुदाय के लोगों से बातचीत की. सूत्रों ने बताया कि मंत्री ने कुकी आदिवासियों नेताओं के साथ मीटिंग की. इस मीटिंग में हिंसा की जांच सीबीआई से कराने की बात कही गई है. शाह के साथ बैठक में राज्य की कानून व्यवस्था को सुधारने, राहत कार्यों में तेजी लाने, इस हिंसा में मारे गए लोगों के परिवार वालों को 10 लाख रुपये और उनके परिवार में किसी एक सदस्य को नौकरी देने का फैसला लिया गया है. मीटिंग में अफवाहों को भी पूरी तरह से रोकने के लिए बात कही गई है.

मणिपुर में तीन मई के बाद से कर्फ्यू लगा हुआ है. इंटरनेट सेवा में भी रोक लगी हुई है. शाह ने मेइती और कुकी समुदाय के लोगों से बातचीत की. सूत्रों ने बताया कि मंत्री ने कुकी आदिवासियों नेताओं के साथ मीटिंग की. इस मीटिंग में हिंसा की जांच सीबीआई से कराने की बात कही गई है. शाह के साथ बैठक में राज्य की कानून व्यवस्था को सुधारने, राहत कार्यों में तेजी लाने, इस हिंसा में मारे गए लोगों के परिवार वालों को 10 लाख रुपये और उनके परिवार में किसी एक सदस्य को नौकरी देने का फैसला लिया गया है. मीटिंग में अफवाहों को भी पूरी तरह से रोकने के लिए बात कही गई है.

चुराचांदपुर में भी गृह मंत्री शाह ने बैठक
उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार शांति लाने की पूरी कोशिश कर रही है. 10 आदिवासी विधायकों ने शाह से कहा कि हमको अलग राज्य घोषित कर दिया जाए. इस मांग पर शाह ने कहा कि मणिपुर की क्षेत्रीय अखंडता किसी भी कीमत पर प्रभावित नहीं होगी.आदिवासी बहुल चुराचांदपुर में भी गृह मंत्री शाह ने बैठक की. इस दौरान उन्होंने क्षेत्र में शांति व्यवस्था स्थापित करने का अनुरोध किया. उनको आश्वासन दिया कि जल्द से जल्द एक राजनीतिक समाधान शुरू किया जाएगा. सूत्रों ने बताया कि शाह ने सीबीआई जांच का भरोसा दिया है. उन्होंने आदिवासी समुदायों के लिए 20 टन चावल की राहत भी दी है. मेइती और कुकी समुदाय के बीच संघर्ष में 80 लोगों की जान चली गई.

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