फरीदाबाद में 40 फीसद बढ़ी साइबर ठगी, 3.5 करोड़ का लगा चूना

फरीदाबाद: पिछले साल की तुलना में इस साल साइबर अपराध में 40 फीसद की बढ़ोतरी हुई है। साइबर थाना पुलिस ने साल 2020 में साइबर ठगी के 15 मुकदमे दर्ज किए थे। वहीं, इस साल अब तक साइबर थाना पुलिस ने 87 मुकदमे दर्ज किए हैं। इनमें से अधिकतर मामले वही दर्ज हैं, जिनमे अपराधी पुलिस की पकड़ में आ गया। साल 2020-21 में सभी थानों में साइबर ठगी के 163 साइबर ठगी के मामले दर्ज किए गए हैं। इस साल दर्ज हुए मुकदमों में साइबर ठगों ने 87 मामलों में 3.5 करोड़ रुपये की ठगी की है। वहीं, सैकड़ों शिकायतें अभी भी ऐसी हैं, जिन्हें साइबर थाना पुलिस ने दर्ज ही नहीं किया है। शहर में होने वाली ठगी में सबसे ज्यादा साइबर ठग लोगों को क्यूआर कोड और लिक भेजकर ठग रहे हैं। इसके साथ ही लाइफ इंश्योरेंस की मैच्योरिटी में मोटा मुनाफा दिलाने के नाम पर भी शहर में काफी लोगों को साइबर ठग निशाना बना चुके हैं

नहीं है बेहतर उपकरण

साइबर ठगी के मामलों को सुलझाने में पुलिस आज भी ठगों से पिछड़ती दिखती है। पुलिस कर्मियों के पास साइबर ठगी के मामलों को सुलझाने के लिए प्रशिक्षण तो है, मगर वह उस स्तर का नहीं, जिस स्तर के तरीके साइबर ठग अपना रहे हैं। पुलिसकर्मी अक्सर साइबर ठगी के बाद हफ्तों तक बैंक और टेलिकाम कंपनियों से डाटा निकलवाने में ही जूझते रहते हैं। साइबर ठग तब तक ठगी वाले खातों से रुपयों को निकालकर रफूचक्कर हो जाते हैं। पुलिस का कहना है कि जितनी भी साइबर ठगी हो रही हैं, सब फर्जी आइडी पर चल रहे नंबर और फर्जी आइडी पर खुले बैंक खातों से हो रहे हैं। ऐसे में अपराधियों को ट्रेस कर पाना पुलिस के लिए बड़ी चुनौती साबित होता है।

रोजाना शहर में औसतन 30 शिकायतें आती हैं पुलिस के पास

फरीदाबाद में रोजाना साइबर ठगी की करीब 30 शिकायतें रोज आती हैं। इन सभी मामलों में पुलिस लंबे समय तक जांच में ही जुटी रहती है। जब पुलिस को इस बात का यकीन हो जाता है कि मामले में कोई अपराधी का लिक जुड़ा मिलता है और वो उसे दबोच लेते हैं, तब कहीं पुलिस ऐसे मामलों में मुकदमा दर्ज करती है। शहर में लोगों से साइबर ठगी हो जाने के छह-छह महीने बाद मुकदमे दर्ज हुए हैं। ऐसे में तब तक अपराधी ठगी की राशि को खर्च भी कर चुका होता है।

इस तरह बचें साइबर ठगों से

  • किसी भी तरह के आफर के लालच में ना आएं
  • अनजान व्यक्ति से फोन पर बात कर उसके बहकावे में ना आएं
  • अच्छी तरह जांच करने के बाद ही किसी भी बैंक खाते में राशि डालें
  • फेसबुक, ट्विटर आइडी का पासवर्ड मजबूत रखें, सरल पासवर्ड न रखें
  • कोई रुपयों की मांग करता है, तो पहले जांच लें या मैसेज करने वाले से फोन पर संपर्क करें
  • बैंक कर्मचारी कभी भी फोन पर बैंक से संबंधित जानकारी नहीं मांगते

जागरूक रहकर ही साइबर ठगों से बचा जा सकता है। पिछले साल की तुलना में साइबर ठगी के मामले बढ़े हैं। हम उनकी जांच कर रहे हैं। दर्ज हुए ज्यादातर मुकदमों को सुलझा लिया गया है। शिकायतों की जांच की जा रही है।

Related posts

Leave a Comment